Monday, April 30, 2018

आयुक्त शहडोल संभाग ने अनाज खरीदी कार्य के संबंध में संभाग के कलेक्टरों को समुचित प्रबंधन के दिये निर्देश

आयुक्त शहडोल संभाग ने अनाज खरीदी कार्य के संबंध में संभाग के कलेक्टरों को समुचित प्रबंधन के दिये निर्देश 
 
अनुपपुर | 30-अप्रैल-2018
 
   
    आयुक्त शहडोल संभाग श्री रजनीश श्रीवास्तव ने बताया कि प्रदेश सरकार द्वारा वर्तमान में अनाज खरीदी का कार्य किया जा रहा है। निर्धारित केन्द्रों में अनाज विक्रय करने हेतु आने वाले किसानों को किसी भी प्रकार की समस्या न हो यह कलेक्टरों की जवाबदारी है। उन्होने निर्देशित किया है कि किसानों को सुगमतापूर्वक अनाज विक्रय की व्यवस्था की जाये, कृषकों को वापस नहीं लौटना पड़े, इसके लिये इस कार्य में जुड़े अधिकारी पूरी सजगता, सावधानी एवं समर्पण के साथ अपने दायित्वों का निर्वहन करें।
    जारी निर्देशों में आयुक्त ने कहा है कि खरीदी केन्द्रों में कृषकों के पंजीयन के मान से छन्ना, धर्मकांटा की व्यवस्था रखने, खरीदी त्वरित रूप से सम्पन्न हो इसके लिये मण्डी में उपलब्ध हम्माल, तुलावटी के अतिरिक्त भी हम्मालों या तुलावटी की व्यवस्था रखने, अनाज की आवक अधिक होने पर सर्वेयर के पास जिला स्तरीय समिति से सत्यापन के पश्चात खरीदी करने के निर्देश दिये हैं। उन्होने कृषकों को एसएमएस के माध्यम से सूचना देने, यदि किसान को एसएमएस नहीं मिला हो तो दुबारा एसएमएस करने को कहा है। आपने कहा है कि वर्तमान में वैवाहिक गतिविधियों के कारण ऐसी स्थितियां बन सकती हैं।
    आयुक्त ने निर्देशित किया है कि खरीदी के उपरांत परिवहन की उचित व्यवस्था की जाये, यदि वेण्डर के पास पर्याप्त वाहन नहीं हो तो उसी दर पर दूसरे परिवहन की व्यवस्था की जाये जिससे किसानों को अनाज का त्वरित भुगतान मिल सके। जिले में स्थित करेंसी चेस्ट पर सतत निगरानी रखी जाये तथा बैंको में पर्याप्त मुद्रा उपलब्ध हो इसके लिये बैंकर्स से लगातार समन्वय एवं समीक्षा की जाये। साथ ही खरीफ 2018 हेतु प्रधानमंत्री फसल बीमा योजना का नोटिफिकेशन जारी किया जाना है, इसके लिये मानक अनुरूप प्रस्ताव नियमानुसार तैयार किये जायें तथा आयुक्त भू-अभिलेख एवं बंदोबस्त ग्वालियर को प्रेषित किये जायें। 

आधार नम्बर को बैंक खाते से लिंक करें 30 जून तक

आधार नम्बर को बैंक खाते से लिंक करें 30 जून तक 
 
अनुपपुर | 30-अप्रैल-2018
   
   भारत सरकार द्वारा धनशोधन निवारण (अभिलेख का अनुरक्षण) नियम-2005 में संशोधन करते हुए अब आधार नम्बर को बैंक खाते में दर्ज करवाना अनिवार्य कर दिया गया है। इसके लिये 30 जून अंतिम तिथि निर्धारित की गई है। इस तिथि के पश्चात बगैर आधार नम्बर वाले बैंक खातों से व्यवहार नहीं किये जा सकेंगे। भारत सरकार द्वारा राज्य सरकार से अपेक्षा की गई है कि हितग्राहियों को सभी भुगतान आधार नम्बर के आधार पर ही किये जायेंगे।

देश की समृद्धि में शहरों के विकास की महत्वपूर्ण भूमिका - राष्ट्रपति श्री कोविंद

देश की समृद्धि में शहरों के विकास की महत्वपूर्ण भूमिका - राष्ट्रपति श्री कोविंद 
राज्यपाल श्रीमती पटेल ने कुपोषण और टी.बी. को खत्म करने का किया आव्हान, मुख्यमंत्री श्री चौहान ने पानी की बचत और जल-संवर्धन के कामों पर ध्यान देने को कहा, 282 करोड़ रूपए से बनेगा गुना मिनी स्मार्ट सिटी 
अनुपपुर | 30-अप्रैल-2018
 
   
    राष्ट्रपति श्री रामनाथ कोविंद ने कहा है कि भारत की समृद्धि में शहरों की अर्थ-व्यवस्था का महत्वूपर्ण स्थान है। शहरों के सुनियोजित विकास के लिए भारत सरकार द्वारा स्मार्ट सिटी परियोजना शुरू की गई है। इसमें 100 शहरों को स्मार्ट के रूप में विकसित किया जा रहा है। मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान ने स्मार्ट सिटी परियोजना को और मजबूती से लागू करने के लिए प्रदेश में मिनी स्मार्ट सिटी विकसित करने का ऐतिहासिक निर्णय लिया है। राष्ट्रपति श्री कोविंद ने यह बात आज गुना शहर को मिनी स्मार्ट सिटी में शामिल करने के कार्यक्रम में कही।
    राष्ट्रपति श्री कोविंद ने कहा कि मध्यप्रदेश राज्य संस्कृति, शौर्य और संगीत में समृद्ध राज्य है। इस राज्य में पर्यटन की अपार संभावनाएँ हैं। प्रदेश ने पिछले कुछ वर्षों में कृषि के क्षेत्र में अभूतपूर्व प्रगति की है। खेती-किसानी के क्षेत्र में बेहतर उत्पादन के लिए राज्य को लगातार कृषि कर्मण अवार्ड प्राप्त हो रहा है।
म.प्र. से आत्मीय लगाव
    राष्ट्रपति ने कहा कि पर्यटन विकास के क्षेत्र में भी बेहतर काम के लिए मध्यप्रदेश सरकार को केन्द्र सरकार की ओर से पुरस्कृत किया गया है। उन्होंने कहा कि मध्यप्रदेश से उनका आत्मीय लगाव रहा है। प्रदेश में लगभग सभी जिलों में उनका भ्रमण हुआ है। गुना में उनके बड़े भाई निवास कर रहे हैं। श्री कोविंद ने कहा कि प्रदेश में संविधान निर्माता डॉ. बाबा साहब भीमराव अम्बेडकर की जन्म-स्थली है। ग्वालियर पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी की कर्मस्थली है। इसके साथ ही गुना स्व.राजमाता विजयाराजे सिंधिया की कर्मभूमि भी है।
    राज्यपाल श्रीमती आनंदी बेन पटेल ने कहा कि स्मार्ट सिटी परियोजना में प्रदेश के 7 शहर शामिल हैं। मुख्यमंत्री श्री चौहान ने प्रदेश में 12 मिनी स्मार्ट सिटी बनाने का भी निर्णय लिया है, जिसमें गुना शहर शामिल किया गया है। उन्होंने कहा कि शहर को स्मार्ट बनाने के लिए शहर के निवासियों को भी अपने व्यवहार में परिवर्तन करते हुए शहर विकास में भागीदार बनना जरूरी है।
    राज्यपाल श्रीमती पटेल ने नागरिकों से आग्रह किया कि स्मार्ट सिटी बनाने के साथ कुपोषण और टी.बी. जैसी गंभीर बीमारी को समूल रूप से खत्म करने के लिए समाज के सभी वर्गों को आगे आना होगा। उन्होंने कहा कि सभी जन-प्रतिनिधि और समाज के गणमान्य नागरिक यह संकल्प लें कि कोई भी बच्चा कुपोषित नहीं रहेगा। इसके लिए कुपोषित बच्चों को गोद लेने का काम भी किया जाए। टी.बी. को खत्म करने के लिये समन्वित प्रयास किए जाए।
राष्ट्रपति भवन में शहरवासियों को किया आमंत्रित
    राष्ट्रपति श्री कोविंद ने कहा कि राष्ट्रपति भवन राष्ट्र की धरोहर है। शहर का कोई भी नागरिक दिल्ली आये, तो राष्ट्र की धरोहर राष्ट्रपति भवन को देखें। उन्होंने कहा कि देश के हर नागरिक को राष्ट्र की धरोहर देखने का पूरा अधिकार है। उन्होंने अपनी ओर से सभी को आमंत्रित किया।

किसानों को उपार्जन केन्द्रों में कोई समस्या न हो

किसानों को उपार्जन केन्द्रों में कोई समस्या न हो 
खरगोन जिला योजना समिति की बैठक में मंत्री कुँवर शाह ने दिये निर्देश 
अनुपपुर | 30-अप्रैल-2018
   
   स्कूल शिक्षा मंत्री कुँवर विजय शाह ने कहा है कि किसानों को उपार्जन केन्द्रों पर अपनी फसल बेचने के समय किसी भी प्रकार की दिक्कतों का सामना ना करना पड़े, यह सुनिश्चित किया जाये। यह निर्देश प्रभारी मंत्री कुँवर विजय शाह ने शनिवार को खरगोन में जिला योजना समिति की बैठक में दिये। बैठक में गर्मी के समय पेयजल व्यवस्था, मुख्यमंत्री कृषक समृद्धि योजना समेत अन्य विषयों पर चर्चा की गई। बैठक में विधायक श्री राजकुमार मेव भी मौजूद थे।
   प्रभारी मंत्री श्री शाह ने कहा कि भावांतर भुगतान योजना और किसान समृद्धि योजना में किन्ही कारणों से किसानों को अब तक राशि का भुगतान नहीं हो पाया है, उन किसानों को तीन दिनों के भीतर लंबित राशि का भुगतान किया जाये। बैठक में पीएचई के कार्यपालन यंत्री ने बताया कि जिले में पेयजल व्यवस्था सुचारू रूप से चल रही है। सौर ऊर्जा से चलने वाले पंपों के लिए 40 पंपों की डीपीआर तैयार हो रही है। जिन गाँवों या बस्तियों में बिजली नहीं है, वहाँ सौर ऊर्जा से पंप चलाकर पेयजल प्रदान किया जाएगा। उन्होंने जिले के पहुँचविहीन गाँवों में परिवहन कर पेयजल की व्यवस्था सुनिश्चित करने के निर्देश भी अधिकारियों को दिये। बैठक में सेल्दा पॉवर प्लांट पर चर्चा की गई। बताया गया कि सेल्दा पॉवर प्लांट से 1320 मेगावॉट बिजली तैयार होगी। यह प्लांट 1060 एकड़ भूमि पर बना है। प्लांट में तैयार होने वाली बिजली 50 प्रतिशत मध्यप्रदेश को और शेष पड़ोसी राज्यों को आपूर्ति की जायेगी।
   स्कूल शिक्षा मंत्री श्रीमंत बाजीराव पेशवा की 278वीं पुण्य-तिथि पर उनकी समाधि स्थल रावेर खेड़ी पहुँचे। उन्होंने वहाँ श्रद्धा-सुमन अर्पित किये। स्कूल शिक्षा मंत्री ने कहा कि बाजीराव पेशवा ने जिस अदम्य साहस और पराक्रम से मुगल शासकों से लोहा लिया, उससे इतिहास गौरवान्वित हुआ है। उन्होंने बाजीराव पेशवा की बहादुरी से युवा पीढ़ी को अवगत कराने की भी बात कही।

प्रदेश के तीन सौ सरकारी विद्यालयों में व्यवसायिक शिक्षा

प्रदेश के तीन सौ सरकारी विद्यालयों में व्यवसायिक शिक्षा 
व्यवसायिक शिक्षा का 63 हजार विद्यार्थियों को मिल रहा है फायदा 
अनुपपुर | 30-अप्रैल-2018
 
   
    प्रदेश के सरकारी विद्यालयों में पढ़ने वाले विद्यार्थियों को रोजगारोन्मुखी कौशल विकास के लिये केन्द्र सरकार की मदद से व्यवसायिक शिक्षा योजना संचालित की जा रही है। योजना में प्रारम्भ में स्कूल शिक्षा विभाग ने 50 उच्चतर माध्यमिक विद्यालयों में दो ट्रेड शुरू किये थे। इसके बाद 263 विकासखण्ड स्तरीय विद्यालयों में व्यवसायिक शिक्षा का विस्तार किया गया है। अब इन विद्यालयों में 8 ट्रेड में विद्यार्थियों को व्यवसायिक शिक्षा दी जा रही है। इस वक्त करीब 63 हजार विद्यार्थियों को व्यवसायिक शिक्षा दी जा रही है। यह व्यवसायिक शिक्षा ब्यूटी एण्ड वेलनेस, बैंकिंग एण्ड फायनेंस सर्विसेस, इलेक्ट्रिकल्स टेक्नोलॉजी, हैल्थ केयर, आई.टी, आई.टी.ईएस, फिजिकल एजुकेशन एण्ड स्पोर्टस, रीटेल ट्रेवल एण्ड टूरिज्म ट्रेड में दी जा रही है।
    अंग्रेजी भाषा के कौशल में सुधार के लिये ब्रिटिश काउंसिल का प्रोजेक्ट- ब्रिटिश काउंसिल एक अन्तर्राष्ट्रीय संस्था है, जो शिक्षण गतिविधियों एवं सांस्कृतिक गतिविधियों को बढ़ावा देने पर कार्य कर रही है। ब्रिटिश काउंसिल देश में लगभग 50 वर्ष से अंग्रेजी भाषा शिक्षण एवं सांस्कृतिक गतिविधियों में सहायता प्रदान कर रही है। संस्था के विश्वव्यापी अनुभव को देखते हुए मध्यप्रदेश में भी अंग्रेजी भाषा शिक्षण एवं सीखने के लिए ब्रिटिश काउंसिल का चयन किया गया है। यह प्रोजेक्ट मध्यप्रदेश में वर्ष 2018 से 2022 तक कार्य करेगा। प्रोजेक्ट के तहत शिक्षकों का अंग्रेजी भाषा शिक्षण के साथ संप्रेक्षण कौशल (कम्यूनिकेशन स्किल) बढ़ाने पर जोर दिया जायेगा। साथ ही बच्चों को अंग्रेजी भाषा सीखने एवं अंग्रेजी भाषा में बोल चाल पर विशेष ध्यान दिया जायेगा। सरकारी स्कूलों में अंग्रेजी भाषा सीखने की नई-नई विधियों के माध्यम से सरलता से अंग्रेजी भाषा सिखाने के कार्यक्रम किये जायेंगें। कक्षा 9 से 12 तक अंग्रेजी भाषा पढ़ाने वाले शिक्षकों को छात्र केन्द्रित तकनीक के माध्यम से प्रशिक्षण दिलाया जायेगा। स्कूल शिक्षा विभाग ब्रिटिश काउंसिल के साथ मिलकर शिक्षकों की संप्रेक्षण कौशल, निरंतर व्यावसायिक विकास (कन्टीन्यूईंग प्रोफेशनल डेवलपमेंट) के पाठ्यक्रम में सहभागिता करना सुनिश्चित कर रहा हैं। इससे शिक्षकों और छात्रों में अंग्रेजी भाषा के कौशल, ज्ञान एवं कक्षाओं में अंग्रेजी शिक्षण की नवीन तकनीक में विकास हो सकेगा।

शिक्षा आत्म-निर्भर और उद्यमी बनाने का माध्यम - राष्ट्रपति श्री कोविन्द

शिक्षा आत्म-निर्भर और उद्यमी बनाने का माध्यम - राष्ट्रपति श्री कोविन्द 
प्रत्येक विश्वविद्यालय में होगा दीक्षांत समारोह 
अनुपपुर | 30-अप्रैल-2018
 
   
   राष्ट्रपति श्री रामनाथ कोविन्द ने कहा है कि शिक्षा केवल ज्ञानार्जन और नौकरी पाने का साधन मात्र नहीं है, इससे विद्यार्थी आत्म-निर्भर और उद्यमी बने। उन्होंने कहा कि विश्वविद्यालय सामाजिक और आर्थिक सशक्तिकरण के स्रोत के रूप में है। इसलिये शिक्षा समावेशी, सुलभ और गुणवत्तापूर्ण होनी चाहिए।  राष्ट्रपति श्री कोविन्द आज सागर में डॉ. हरिसिंह गौर केन्द्रीय विश्वविद्यालय के 27वें दीक्षांत समारोह को संबोधित कर रहे थे।
   राष्ट्रपति श्री कोविन्द ने कहा कि आज चरित्र निर्माण और जीवन मूल्यों से ओतप्रोत शिक्षा पद्धति की जरूरत है। उन्होंने कहा कि शिक्षा के प्रसार के लिए केन्द्र और राज्य सरकारें मिलकर बेहतर काम कर रहीं हैं। युवा आधुनिक शिक्षा पद्धति से शिक्षित और दीक्षित होकर अब नौकरी तलाशने वाले नहीं बल्कि नौकरी देने वाले बनें। उन्होंने बुंदेलखंड अंचल के पुरा वैभव, कला, संस्कृति, विश्व-प्रसिद्ध विरासतों और लाखा बंजारा और वीरांगना झलकारी बाई का जिक्र करते हुए कहा कि इस क्षेत्र का गौरवमयी इतिहास रहा है। समाज के निर्माण में सागर विश्वविद्यालय का योगदान और डॉ. हरिसिंह गौर की शिक्षा के प्रति प्रतिबद्धता अनुकरणीय है। उन्होंने लोक हित में निजी संपत्ति लगाने का अद्वितीय उदाहरण प्रस्तुत किया। यह विश्वविद्यालय सामाजिक, आर्थिक सशक्तिकरण का स्रोत है। उन्होंने अपेक्षा व्यक्त की कि डॉ. गौर के सपनों के अनुरूप विश्वविद्यालय का निरंतर विकास हो।
   राष्ट्रपति श्री कोविंद ने सागर विश्वविद्यालय में सामाजिक दर्शन पर शोध के लिये डॉ. अम्बेडकर पीठ की स्थापना और युवाओं को मार्गददर्शन देने के लिये उद्यमिता प्रकोष्ठ की स्थापना पर प्रसन्नता व्यक्त की। उन्होंने कहा कि डॉ. अम्बेडकर कमजोर वर्गों के उत्थान और शिक्षा के प्रबल पक्षधर थे। वे कमजोर वर्गों के लिये शिक्षा को अनिवार्य मानते थे। श्री कोविंद ने कहा कि शिक्षा एवं अन्य क्षेत्रों में बेटियों के बढ़ते वर्चस्व को एक अच्छे सामाजिक परिवर्तन के रूप में देखता हूँ। उन्होंने मध्यप्रदेश में शिक्षा के प्रसार के लिये मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान द्वारा उठाये गये कदमों की सराहना की। उन्होंने राज्यपाल श्रीमती आनंदीबेन पटेल के कार्यों का उल्लेख करते हुए बेटियों को आगे बढ़ने के लिये प्रोत्साहित भी किया। साथ ही उपाधि हासिल करने वाले छात्र-छात्राओं को बधाई और शुभकामनाएँ दी। राष्ट्रपति ने आँतों के कैंसर के इलाज पर शोध के लिये विश्वविद्यालय के प्रो. संजय के. जैन को विशेष पुरस्कार मिलने पर उन्हें बधाई दी।
   राज्यपाल श्रीमती आनंदीबेन पटेल ने कहा कि विद्यार्थी विद्या प्राप्ति को सिर्फ नौकरी पाने का माध्यम नहीं समझें। वे ज्ञान-अर्जन कर तेजस्वी और ओजस्वी बनें तथा अपने अर्जित ज्ञान का उपयोग सार्थक कार्यों में करते हुए समाज की उत्तरोत्तर प्रगति में सहभागी बनें।
   मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा कि ज्ञान प्राप्त करना बच्चों का बुनियादी अधिकार है। इसके लिए हमने ठोस योजनाएँ बनाई हैं, जिससे धन के अभाव में कोई भी बच्चा पढ़ाई से वंचित नहीं रहे। उन्होंने बताया कि प्रदेश में कक्षा 12वीं में 70 प्रतिशत अंक प्राप्त करने वाले विद्यार्थियों की संपूर्ण शिक्षा का खर्च शासन उठायेगा। साथ ही असंगठित क्षेत्र के श्रमिकों के बच्चों की कक्षा पहली से पीएचडी तक की शिक्षा का खर्च भी शासन उठायेगा। श्री चौहान ने कहा कि 67 वर्ष बाद आज पहली बार भारत के राष्ट्रपति सागर आये हैं। उन्होंने कहा कि यह हम सबके लिये बहुत ही हर्ष का पल है। हमें इसी प्रकार अपनी परंपराओं को आगे बढ़ाना चाहिए।
   केन्द्रीय मानव संसाधन विकास राज्य मंत्री डॉ. सत्यपाल सिंह ने कहा कि अब देश के प्रत्येक विश्वविद्यालय में प्रतिवर्ष दीक्षांत समारोह होगा। उन्होंने कहा कि शिक्षा कभी भी खत्म नहीं होती। हमें हर पल सीखते हुए पूर्ण समर्पण से जीवन में उच्चतम लक्ष्य प्राप्त करना चाहिए।
   विश्वविद्यालय के कुलाधिपति डॉ. बलवंत शांतिलाल जानी ने भी समारोह को संबोधित किया। कुलपति डॉ. राघवेन्द्र प्रसाद तिवारी ने स्वागत भाषण दिया।
   दीक्षांत समारोह में 356 विद्यार्थियों को उपाधि से विभूषित किया गया। विश्वविद्यालय की अध्ययन शालाओं के टॉपर रहे विद्यार्थियों को स्वर्ण-पदक प्रदान किये गये। स्वर्ण पदक विजेता 11 विद्यार्थियों में 10 छात्राएँ थीं।
   इस अवसर पर केन्द्रीय महिला-बाल विकास एवं अल्पसंख्यक मामले राज्य मंत्री डॉ. वीरेन्द्र कुमार, सांसद श्री लक्ष्मीनारायण यादव, कुलसचिव ग्रुप कैप्टन (रिटायर्ड) श्री विवेक दुबे उपस्थित थे। दीक्षांत समारोह में विद्यार्थी एवं प्राध्यापक तथा सभी अतिथि भारतीय वेशभूषा में उपस्थित थे। शोभा यात्रा का दीक्षांत समारोह में आगमन पर वैदिक मंत्रोच्चार से स्वागत किया गया।

आयुष्मान भारत दिवस पर आयोजित विशेष ग्राम-सभाओं में चिन्हित परिवारों का किया गया नाम वाचन



आयुष्मान भारत दिवस पर आयोजित विशेष ग्राम-सभाओं में चिन्हित परिवारों का किया गया नाम वाचन




अनूपपुर 30 अप्रैल 2018/ ग्राम स्वराज अभियान अंतर्गत अनूपपुर मे  30 अप्रैल को आयुष्मान भारत दिवस पर ग्राम पंचायतों में विशेष ग्राम-सभाओं का आयोजन किया गया। मुख्य चिकित्सा एवं स्वस्थ्य अधिकारी डॉ आरपी श्रीवास्तव ने बताया कि ग्राम-सभाओं में प्रधानमंत्री राष्ट्रीय चिकित्सा सुरक्षा मिशन के अंतर्गत 5 लाख रूपये तक के कैशलेस इलाज के लिये चयनित नामों का वाचन किया गया। आपने बताया कि लोक स्वास्थ्य एवं परिवार कल्याण विभाग ने सामाजिक एवं आर्थिक जनगणना-2011 में चिन्हित गरीब परिवारों की सूची ग्राम पंचायतों को उपलब्ध करा दी है। ग्राम-सभाओं में योजना का लाभ दिलाने के लिए आधार, राशन कार्ड, बढ़े हुए सदस्यों की संख्या आदि की भी जानकारी जुटाई जाएगी। आयुष्मान भारत योजना में 13 से अधिक पैकेज शामिल किए जा रहे हैं। चिन्हित हितग्राही शासकीय के साथ निजी अस्पतालों में भी इलाज करा सकेंगे। उपचार राशि सीधे अस्पताल के खाते में पहुँच जाएगी। योजना का दायरा काफी विस्तृत है। इसमें शहरी क्षेत्र के कचरा बीनने वाले भिखारी, असंगठित क्षेत्र के मजदूर आदि को शामिल किया गया हैं। वहीं ग्रामीण क्षेत्र में भूमि होने, कच्चा मकान, मजदूर आदि लाभ लेंगे। दिव्यांग वयस्क या पुरूष विहीन मुखिया परिवार भी इस योजना में लाभान्वित होंगे। 

जल संरक्षण एवं संवर्धन पर जल संसद मे बनाई गयी कार्ययोजना


जल संरक्षण एवं संवर्धन पर जल संसद मे बनाई गयी कार्ययोजना





अनूपपुर 30 अप्रैल 2018/ जल प्रकृति द्वारा निः शुल्क प्रदान किया गया है। परंतु इसकी मात्रा सीमित है। गैर जिम्मेदाराना ढंग से इस्तेमाल करने से न केवल जल की उपलब्धता कम हुई है वरन जल मे प्रदूषण के कारण जल की स्वच्छता पर भी प्रतिकूल प्रभाव पड़ा है। जल के इस विकृत उपयोग से प्राकृतिक स्त्रोतों की जल प्रदाय की क्षमता मे भारी कमी आई है। इसके साथ ही पर्यावरणीय संतुलन बिगड़ने से भी जल के प्रमुख स्त्रोत वर्षा की विश्वसनीयता मे परिवर्तन आने के फलस्वरूप अब यह आवश्यक हो गया है कि जल का उचित प्रबंधन किया जाए। उक्त समस्याओं के प्रति समाज के ध्यानाकर्षण एवं भविष्योनुमुखी रणनीति बनाने हेतु आज सम्पूर्ण प्रदेश मे जल संसद का आयोजन किया गया।
जल के संरक्षण की सर्वाधिक ज़िम्मेदारी मानव जाति की- डॉ आर पी तिवारी
अनूपपुर मे आयोजित जल संसद मे अपर कलेक्टर डॉ आरपी तिवारी ने कहा कि जल के उचित प्रबंधन के बिना भविष्य मे जल की उपलब्धता की कल्पना नहीं की जा सकती है। जल सभी प्राणियों के जीवन का आवश्यक अंग है। परंतु इसका उपयोग सर्वाधिक मानव जाति द्वारा  किया जाता है। अतएव इसके संरक्षण एवं संवर्धन की सर्वाधिक ज़िम्मेदारी भी हमारी बनती है। इसी ज़िम्मेदारी की अनुभूति कराने एवं जन सहयोग से इस प्राकृतिक संसाधन की सुरक्षा, उचित प्रयोग, बेहतर प्रबंधन एवं संवर्धन के कार्य को निष्पादित कराने हेतु जन अभियान परिषद अनवरत रूप से लगी हुई है। इस कार्य को वास्तविकता मे सफल बनाने हेतु सम्पूर्ण समुदाय का सहयोग अवश्यक है। आज समय है हम सभी अपनी जिम्मेदारियों का निर्वहन कर विकास की इस प्रक्रिया को सतत एवं संवहनीय बनाए।
जन भागीदारी सुनिश्चित करने के लिए सहभागिता आवश्यक है- वीरेंद्र सिंह
ज़िला जन अभियान समिति के उपाध्यक्ष्य श्री वीरेंद्र सिंह ने कहा कि जन भागीदारी ही प्राकृतिक संसाधनो के संरक्षण एवं संवर्धन के लिए सर्वोत्तम उपाय है। सहभागिता सुनिश्चित करने के लिए यह आवश्यक है कि सभी लोग इस प्रक्रिया का सम्पूर्ण रूप से हिस्सा बने। अपनी बाते रखे, उपाय साझा करे, कार्ययोजना के निर्माण एवं उसके क्रियान्वयन की रणनीति बनाने मे भागीदार हों। इन सभी बातों को ध्यान मे रखते हुए आज सम्पूर्ण मध्यप्रदेश मे जल संसद का आयोजन किया गया है।

जन अभियान परिषद के ज़िला समन्वयक श्री उमेश पांडे ने बताया कि अनूपपुर ज़िले मे चारों विकासखंडों मे जनता को जल के महत्व के प्रति पुनःजागरण, सुझावों एवं उनके क्रियान्वयन मे  भागीदारी सुनिश्चित करने हेतु आज जल संसद का आयोजन किया गया है। जल संसदों मे अनूपपुर विकासखंड में बांकी नदी, जैतहरी विकासखंड में हँसिया नदी, पुष्पराजगढ़ विकासखंड में देवराज कोतमा विकासखंड में कनई नदी के पुनर्जीवन एवं जल संरक्षण के लिए कार्ययोजना एवं आगामी मई एवं जून माह मे उसके क्रियान्वयन पर चर्चा की गयी।

जन अभियान परिषद जल अभियान परिषद बनकर कर रहा है  सराहनीय कार्य- मनोज द्विवेदी

ज़िला स्तरीय जल संसद मे उपस्थित जनो द्वारा नदी जल के बेहतर प्रबंधन, संवर्धन एवं संरक्षण हेतु योजना निर्माण एवं उनके क्रियान्वयन के लिए  सुझाव दिये गए। अनूपपुर ज़िले के वरिष्ठ  पत्रकार श्री मनोज द्विवेदी का कहना है नदी संरक्षण के साथ  तालाब संरक्षण भी जरुरी है । आपने कहा इल लीगल माईनिंग से ज्यादा खतरनाक है इल लीगल वाटरिंग।  बेवजह जरुरत से ज्यादा पानी का उपयोग करने से न केवल पानी  का अपव्यय होता है वरन मृदा की उर्वरा शक्ति पर भी बुरा असर पड़ता है। अतिक्रमण की वजह से तालाब व नदी का कैचमेन्ट एरिया सिकुडा है। अतिक्रमण रोकने की जरुरत है।  आज जल स्तर बढ़ाने के लिए वाटर हार्वेस्टिंग सिंस्टम पर कार्य करने की जरुरत है।नदियों को बचाने के लिये अंधाधुंध रेत उत्खनन रोकने व पौधे लगाने की जरुरत है, आपने कहा जन अभियान परिषद जल अभियान परिषद बन कर सराहनीय कार्य कर रहा है। 


राज्यस्तरीय जल संसद मे मुख्यमंत्री जी के सम्बोधन को अनूपपुर की जल संसदों मे सुना गया

अनूपपुर मे आयोजित जल संसदों मे मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान के भोपाल मे राज्यस्तरीय कार्यक्रम मे सम्बोधन के श्रवण एवं दर्शन की व्यवस्था की गयी थी। जिसे सुनकर उपस्थित जन समुदाय ने जल संरक्षण के प्रति मुख्यमंत्री श्री चौहान के द्वारा किए गए आह्वान को सुना एवं प्रकृति के प्रति अपना कर्तव्य निभाने का प्रण लिया। अनूपपुर मे आयोजित ज़िला स्तरीय कार्यक्रम मे बाल विकास समिति के सदस्य श्री ज्ञानेन्द्र सिंह, ग्राम प्रस्फुटन समिति के सदस्य, जनप्रतिनिधि, पत्रकार बंधु एवं आम जन उपस्थित थे।

Sunday, April 29, 2018

सभी जिला एवं विकासखण्ड मुख्यालय में आज जल संरक्षण एवं नदी पुनर्जीवन अभियान

सभी जिला एवं विकासखण्ड मुख्यालय में आज जल संरक्षण एवं नदी पुनर्जीवन अभियान 
 
अनुपपुर | 29-अप्रैल-2018

    माननीय मुख्यमंत्री जी की मंशानुसार प्रदेश के सभी जिला एवं विकासखण्ड मुख्यालय में आज 30 अप्रैल को जल संरक्षण एवं नदी पुनर्जीवन अभियान के तहत जन अभियान परिषद की अगुआई में जल संसद का आयोजन किया जाएगा। माननीय मुख्यमंत्री जी प्रदेशस्तरीय कार्यक्रम जो कि ग्राम ईंटखेड़ी छाप विकासखण्ड फंदा जिला भोपाल में कोलाश नदी के तट पर 30 अप्रैल को 11 बजे से आयोजित जल संसद में भाग लेंगे। इसी प्रकार अनूपपुर जिले के चारों विकासखण्ड में स्थित स्वसहायता समूह भवन में जल संसद कार्यक्रम का आयोजन किया जाएगा। जिसमे राज्यस्तरीय कार्यक्रम से माननीय मुख्यमंत्री जी का उदबोधन का सीधा प्रसारण उपस्थित जन समुदाय को दिखाया जाएगा। जिसमे माननीय मुख्यमंत्री जी जल संरक्षण पर अपने विचार व्यक्त करेंगे। माननीय मुख्यमंत्री जी के कार्यक्रम के पूर्व य पश्चात नदी संरक्षण हेतु कार्यरत संस्थाओं के प्रतिनिधि एवं स्थानीय जन प्रतिनिधियों द्वारा जल संरक्षण हेतु विचार व्यक्त किये जाएंगे। इसके उपरांत सदन से चर्चा कर प्रत्येक विकासखण्ड में चयनित नदी में श्रमदान एवम जनभागीदारी हेतु कार्ययोजना का निर्माण किया जाएगा। ज्ञात रहे कि जन अभियान परिषद जिले के विकासखण्ड अनूपपुर में  बांकी नदी,जैतहरी में हसिया नदी, कोतमा में कनई नदी, पुष्पराजगढ़ में देवराज जैसी छोटी नदियों को सामुहिक श्रमदान एवं जनभागीदारी से पुनर्जीवित करने का बीड़ा उठाया है जिसका आगाज जल संसद में आम जन की सहमति से कार्ययोजना बनाकर किया जाएगा। जन अभियान परिषद द्वारा सभी विकासखण्ड के स्वसहायता समूह में आयोजित जल संसद में 30 अप्रैल को प्रातः 11 बजे से आम जनसमुदाय से उपस्थित होने की अपील की है। ताकि विकास कार्यो में जनभागीदारी को बढ़ाया जा सके।

1 मई से 10 मई तक चलेगी विकास यात्रा

1 मई से 10 मई तक चलेगी विकास यात्रा 
 
अनुपपुर | 29-अप्रैल-2018
 
   
    प्रदेश भर में एक मई से 10 मई तक विकास यात्रा का कार्यक्रम संचालित किया जायेगा। इस दौरान विकास कार्यों भूमि पूजन, लोकार्पण या शिलान्यास किया जायेगा।
    राज्य शासन के सामान्य प्रशासन विभाग द्वारा जारी निर्देश में कहा गया है कि बड़ी परियोजनायें जैसे समूह नल-जल प्रदाय योजना, सिंचाई की वृहद् परियोजनायें, मेडिकल कॉलेज आदि कार्यों का भूमि पूजन, लोकार्पण, शिलान्यास मुख्यमंत्री द्वारा किया जायेगा। जबकि अन्य कार्यों के भूमि पूजन, लोकार्पण व शिलान्यास के लिए जिले के प्रभारी मंत्री, मंत्री व विधायकों से जिले के कलेक्टर संपर्क कर 10 दिवस में विकास यात्रा की कार्ययोजना बनायेंगे। 

राष्ट्रीय प्रतिभा खोज परीक्षा 13 मई 2018 को

राष्ट्रीय प्रतिभा खोज परीक्षा 13 मई 2018 को 
 
अनुपपुर | 29-अप्रैल-2018
 
   
    राष्ट्रीय प्रतिभा खोज परीक्षा (एनटीएसई) के द्वितीय चरण की परीक्षा के लिये मध्यप्रदेश के 276 विद्यार्थी पात्र घोषित किये गये हैं। ये सभी विद्यार्थी अब 13 मई 2018 को द्वितीय चरण की परीक्षा में शामिल होंगे। परीक्षा प्रवेश पत्र एन.सी.ई.आर.टी ने अपने वेब पोर्टल पर उपलब्ध करा दिये हैं। चयनित परीक्षार्थी अपने प्रवेश पत्र इंटरनेट पर http://www.ncert.inc.in/nts.2018 admitcard.pdf से डाउनलोड कर सकते हैं।
     राज्य शिक्षा केन्द्र ने सभी जिला शिक्षा अधिकारियों और संकुल प्राचार्यो को निर्देशित किया है कि अपने क्षेत्र के चयनित विद्यार्थियों से संपर्क कर द्वितीय चरण की परीक्षा के लिये उनके प्रवेश-पत्र उपलब्ध करवाने में सहायता करें। विद्यार्थियों को प्रवेश पत्र के लिये किसी भी प्रकार की कठिनाई न हो, इस बात का विशेष ध्यान रखा जाये। 

अनुभूति कार्यक्रम से नई पीढ़ी के हाथों सुरक्षित हुए वन

अनुभूति कार्यक्रम से नई पीढ़ी के हाथों सुरक्षित हुए वन 
दो सालों में एक लाख 65 हजार से अधिक बच्चो ने किया वन भ्रमण 
अनुपपुर | 29-अप्रैल-2018
 
   
    प्रदेश में दो वर्ष पूर्व वन विभाग द्वारा आरंभ किये गये अनुभूति कार्यक्रम में एक लाख 65 हजार से अधिक बच्चों ने भाग लिया। राष्ट्रीय उद्यान,टाइगर रिजर्व और अभयारण्य में भ्रमण से बच्चों और जंगल के बीच में अपनत्व का भाव बढ़ने से वन और वन्य प्राणी संरक्षण के उत्साहजनक परिणाम मिले हैं। बच्चों ने अपने परिवार और आस-पड़ोस में भी जागरूकता वातावरण निर्मित किया है। यह जानकारी आज अनुभूति कार्यक्रम वर्ष 2017-18 की पुस्तिका के विमोचन के दौरान दी गई।
    मुख्य अतिथि अपर मुख्य सचिव गृह श्री के.के. सिंह ने कार्यक्रम की प्रशंसा करते हुए कहा कि अनुभूति कार्यक्रम बच्चों में वन और वन्य प्राणी संरक्षण का संस्कार मजबूत कर रहा है। हर साल होने वाले इस कार्यक्रम में बच्चों की संख्या एक लाख से बढ़ाकर डेढ़ लाख की जानी चाहिये। वन बल प्रमुख श्री अनिमेष शुक्ला ने कहा कि अनुभूति कार्यक्रम ने बच्चों में हमारा जंगल की अनुभूति उत्पन्न की है। इसके दूरगामी परिणाम अतिसुखद होंगे। वन मंत्री डॉ. गौरीशंकर शेजवार के कहने पर कार्यक्रम में भाग लेने वाले स्कूली बच्चों की संख्या 50 हजार से बढ़ाकर एक लाख की गई है। वन्य-प्राणी अभिरक्षक श्री जितेन्द्र अग्रवाल ने कहा कि कार्यक्रम से पिछले दो सालों में डेढ़ लाख से अधिक परिवारों में वन के प्रति जागरूकता आई है। स्कूली बच्चों के भ्रमण से यह मिथक भी टूटा है कि टाइगर रिजर्व और राष्ट्रीय उद्यान केवल धनाढ्य लोगों के लिये हैं।
    अनुभूति कार्यक्रम में वर्ष 2016-17 में 1938 विद्यालयों के 53 हजार 935 और वर्ष 2017-18 में 2735 शासकीय विद्यालयों के एक लाख 11 हजार 68 बच्चे शामिल हुए। 15 दिसम्बर से 15 जनवरी तक होने वाले कार्यक्रम में बच्चों को राष्ट्रीय उद्यान, बफर, अभ्यारण्य क्षेत्रों में भ्रमण के साथ जल की महत्ता, पर्यावरण संरक्षण, जैव-विविधता, पक्षी दर्शन, वन औषधि और वन प्रबंधन की सामान्य जानकारी और अनुभव प्रदान किया गया है। दिव्यांग बच्चों को सांकेतिक भाषा, स्पर्श और आवाज के माध्यम से जानकारी दी गई। कार्यक्रमों में मंत्री, विधायक और वरिष्ठ अधिकारियों ने भी भाग लिया। इस अवसर पर अनुभूति कार्यक्रम पर आधारित फिल्म प्रदर्शन के साथ सीडी भी जारी की गई।
तीन वरिष्ठ अधिकारियों की विदाई
    कार्यक्रम में 30 अप्रैल को सेवानिवृत्त हो रहे प्रधान मुख्य वन संरक्षक डॉ. अनिमेश शुक्ला, प्रधान मुख्य वन संरक्षक (वन्य प्राणी) श्री जितेन्द्र अग्रवाल और प्रधान मुख्य वन संरक्षक श्री आर.के. गुप्ता (उत्पादन) को भावभीनी विदाई दी गई। अधिकारियों को स्मृति-चिन्ह भी भेंट किये गये।
    वन विकास निगम के प्रबंध संचालक श्री रवि श्रीवास्तव, वन्य प्राणी अभिरक्षक श्री जितेन्द्र अग्रवाल, ईको पर्यटन विकास बोर्ड के मुख्य कार्यपालन अधिकारी श्री पुष्कर सिंह और विभाग के वरिष्ठ अधिकारी भी कार्यक्रम में मौजूद थे।

प्रदेश के तीन सौ सरकारी विद्यालयों में व्यवसायिक शिक्षा

प्रदेश के तीन सौ सरकारी विद्यालयों में व्यवसायिक शिक्षा 
व्यवसायिक शिक्षा का 63 हजार विद्यार्थियों को मिल रहा है फायदा 
अनुपपुर | 29-अप्रैल-2018
 
   
    प्रदेश के सरकारी विद्यालयों में पढ़ने वाले विद्यार्थियों को रोजगारोन्मुखी कौशल विकास के लिये केन्द्र सरकार की मदद से व्यवसायिक शिक्षा योजना संचालित की जा रही है।  योजना में प्रारम्भ में स्कूल शिक्षा विभाग ने 50 उच्चतर माध्यमिक विद्यालयों में दो ट्रेड शुरू किये थे। इसके बाद 263 विकासखण्ड स्तरीय विद्यालयों में व्यवसायिक शिक्षा का विस्तार किया गया है। अब इन विद्यालयों में 8 ट्रेड में विद्यार्थियों को व्यवसायिक शिक्षा दी जा रही है। इस वक्त करीब 63 हजार विद्यार्थियों को व्यवसायिक शिक्षा दी जा रही है।
    यह व्यवसायिक शिक्षा ब्यूटी एण्ड वेलनेस, बैंकिंग एण्ड फायनेंस सर्विसेस, इलेक्ट्रिकल्स टेक्नोलॉजी, हैल्थ केयर, आई.टी, आई.टी.ईएस, फिजिकल एजुकेशन एण्ड स्पोर्टस, रीटेल ट्रेवल एण्ड टूरिज्म ट्रेड में दी जा रही है।
अंग्रेजी भाषा के कौशल में सुधार के लिये ब्रिटिश काउंसिल का प्रोजेक्ट
    ब्रिटिश काउंसिल एक अन्तर्राष्ट्रीय संस्था है, जो शिक्षण गतिविधियों एवं सांस्कृतिक गतिविधियों को बढ़ावा देने पर कार्य कर रही है। ब्रिटिश काउंसिल देश में लगभग 50 वर्ष से अंग्रेजी भाषा शिक्षण एवं सांस्कृतिक गतिविधियों में सहायता प्रदान कर रही है। संस्था के विश्वव्यापी अनुभव को देखते हुए मध्यप्रदेश में भी अंग्रेजी भाषा शिक्षण एवं सीखने के लिए ब्रिटिश काउंसिल का चयन किया गया है। यह प्रोजेक्ट मध्यप्रदेश में वर्ष 2018 से 2022 तक कार्य करेगा। प्रोजेक्ट के तहत शिक्षकों का अंग्रेजी भाषा शिक्षण के साथ संप्रेक्षण कौशल (कम्यूनिकेशन स्किल) बढ़ाने पर जोर दिया जायेगा। साथ ही बच्चों को अंग्रेजी भाषा सीखने एवं अंग्रेजी भाषा में बोल चाल पर विशेष ध्यान दिया जायेगा। सरकारी स्कूलों में अंग्रेजी भाषा सीखने की नई-नई विधियों के माध्यम से सरलता से अंग्रेजी भाषा सिखाने के कार्यक्रम किये जायेंगें। कक्षा 9 से 12 तक अंग्रेजी भाषा पढ़ाने वाले शिक्षकों को छात्र केन्द्रित तकनीक के माध्यम से प्रशिक्षण दिलाया जायेगा। स्कूल शिक्षा विभाग ब्रिटिश काउंसिल के साथ मिलकर शिक्षकों की संप्रेक्षण कौशल, निरंतर व्यावसायिक विकास (कन्टीन्यूईंग प्रोफेशनल डेवलपमेंट) के पाठ्यक्रम में सहभागिता करना सुनिश्चित कर रहा हैं। इससे शिक्षकों और छात्रों में अंग्रेजी भाषा के कौशल, ज्ञान एवं कक्षाओं में अंग्रेजी शिक्षण की नवीन तकनीक में विकास हो सकेगा।

नाफेड सर्वेयर की अनुपस्थिति में एफएक्यू उपार्जन समिति के माध्यम से होगा

नाफेड सर्वेयर की अनुपस्थिति में एफएक्यू उपार्जन समिति के माध्यम से होगा 
कृषि विकास विभाग ने जारी किये निर्देश 
अनुपपुर | 29-अप्रैल-2018
 
   
    प्राइस सपोर्ट स्कीम अंतर्गत रबी मार्केटिंग सीजन 2018-19 में चना, मसूर और सरसों की खरीदी का काम उपार्जन केन्द्रों में किया जा रहा है। प्रदेश में स्वीकृत उपार्जन केन्द्रों में नाफेड के सर्वेयर की अनुपस्थिति में उपार्जन समिति के माध्यम से फेयर एवरेज क्वालिटी (एफ.ए.क्यू.)मानक का चना, मसूर, सरसों उपार्जित किया जा सकेगा। इसके लिये जिला कलेक्टर्स को समिति गठित करने के निर्देश दिये गये हैं।
    गठित समिति में राजस्व अधिकारी, कृषि, खाद्य और सहकारिता विभाग का प्रतिनिधि शामिल होगा। इस संबंध में किसान-कल्याण तथा कृषि विकास विभाग ने सभी कमिश्नर्स और कलेक्टर्स को निर्देश जारी कर दिये हैं।

मुख्यमंत्री कृषक समृद्धि योजना में संशोधन

मुख्यमंत्री कृषक समृद्धि योजना में संशोधन 
12 विभाग को क्रियान्वयन का जिम्मा 
अनुपपुर | 29-अप्रैल-2018
 
   
    राज्य शासन ने हितग्रहियों को अधिकाधिक लाभ पहुँचाने के उद्देश्य से मुख्यमंत्री कृषक उद्यमी योजना में आवश्यक संशोधन किया है। सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यम विभाग द्वारा जारी आदेश अनुसार मुख्यमंत्री कृषक उद्यमी योजना में अब हितग्राही को परियोजना लागत 50 हजार से 2 करोड़ तक की राशि मिलेगी। इसमें हितग्राही की उम्र 18 से 45 वर्ष होना चाहिए।
इन परियोजनाओं में मिलेगी राशि
     उद्योग (विनिर्माण), सेवा और व्यवसाय से संबंधित सभी प्रकार की परियोजना, कृषि आधारित परियोजनाएँ- एग्रो प्रोसेसिंग, फूड प्रोसेसिंग, कोल्ड स्टोरेज, मिल्क प्रोसेसिंग, केटल फीड, पोल्ट्री फीड, फिश फीड, कस्टम हायरिंग सेंटर, वेजीटेबल डीहाईड्रेशन, टिश्यू कल्चर,कैटल फीड, दालमिल, राईस मिल, आईल मिल, फ्लोर मिल, बेकरी, मसाला निर्माण, सीड ग्रेडिंग/सार्टिंग और अन्य कृषि आधारित/अनुशांगिक परियोजनाओं को प्राथमिकता दी जायेगी।
12 विभाग करेंगे योजना का क्रियान्वयन
    योजना का क्रियान्वयन 12 विभाग द्वारा किया जाएगा। इनमें सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यम विभाग, पंचायत एवं ग्रामीण विकास, नगरीय विकास और आवास, कुटीर एवं ग्रामोद्योग, अनुसूचित जाति कल्याण, जनजातीय कार्य, पिछड़ा वर्ग और अल्पसंख्यक कल्याण, विमुक्त, घुमक्कड़ और अर्द्धघुमक्कड़, किसान-कल्याण तथा कृषि विकास, उद्यानिकी तथा खाद्य प्र-संस्करण, मछुआ कल्याण तथा मत्स्य-विकास और पशुपालन विभाग शामिल हैं।

प्रदेश में 24 और नये उपार्जन केन्द्र

प्रदेश में 24 और नये उपार्जन केन्द्र 
समिति की सिफारिश पर औसत उत्पादकता का नया निर्धारण 
अनुपपुर | 29-अप्रैल-2018
 
   
    प्रदेश में प्राइस सपोर्ट स्कीम के अंतर्गत गठित समिति की सिफारिश पर राज्य में चना, मसूर और सरसों के लिये 24 नये उपार्जन केन्द्र मंजूर किये गये हैं। इन केन्द्रों पर तत्काल खरीदी शुरू करने के निर्देश दिये गये हैं। नये केन्द्रों में रायसेन और उज्जैन जिले में तीन-तीन, अशोकनगर, खण्डवा, होशंगाबाद और मंदसौर में दो-दो, बैतूल, भिण्ड, शाजापुर, आगर, शिवपुरी, छिन्दवाड़ा, श्योपुर, ग्वालियर और झाबुआ में एक-एक नया उपार्जन केन्द्र शुरू किया गया है। मुख्यमंत्री श्री शिवराज सिंह चौहान ने वीडियो-कॉन्फ्रेंस के दौरान किसानों की सुविधा को देखते हुए नये उपार्जन केन्द्र शुरू करने के निर्देश दिये थे। प्रमुख सचिव किसान-कल्याण एवं कृषि विकास डॉ. राजेश राजौरा की अध्यक्षता में हुई बैठक में 24 नये उपार्जन केन्द्रों को मंजूरी दी गई। कलेक्टर्स से इन केन्द्रों में सभी आवश्यक व्यवस्था करने के लिये कहा गया है।
    औसत उत्पादकता का निर्धारण-प्राइस सपोर्ट स्कीम की बैठक में रबी मार्केटिंग सीजन 2018-19 के लिये होशंगाबाद और हरदा जिलों के लिये चना की औसत उत्पादकता का नया निर्धारण किया गया है। होशंगाबाद एवं हरदा जिलों में चना की औसत उत्पादकता 15 क्विंटल प्रति हेक्टेयर के स्थान पर 19 क्विंटल तथा भिण्ड और मुरैना जिलों के लिये सरसों फसल की औसत उत्पादकता 13 क्विंटल प्रति हेक्टेयर के स्थान पर 15 क्विंटल निर्धारित की गई है। इस संबंध में भी प्रमुख सचिव किसान-कल्याण एवं कृषि विकास द्वारा होशंगाबाद, हरदा, भिण्ड और मुरैना कलेक्टरों को निर्देश दे दिये गये हैं।

Saturday, April 28, 2018

किसान कल्याण कार्यशालाएं 5 मई तक आयोजित होंगी

किसान कल्याण कार्यशालाएं 5 मई तक आयोजित होंगी 
 
अनुपपुर | 28-अप्रैल-2018
 
   प्रदेश में किसानों की आय दोगुनी करने और किसानों को नवीन तकनीकों की जानकारी देने के लिये 14 अप्रैल से विकासखण्ड स्तर पर किसान कल्याण तथा कृषि विभाग द्वारा किसान कल्याण कार्यशालाओं का आयोजन शुरू हो चुका है। ये कार्यशालाएँ 5 मई तक आयोजित होंगी।
   कार्यशाला में उप-संचालक कृषि, परियोजना संचालक आत्मा, उप संचालक पशुपालन, सहायक संचालक उद्यानिकी और सहायक संचालक मत्स्य पालन विशेष रूप से उपस्थित रहकर विभागीय योजनाओं की जानकारी किसानों को दे रहे हैं। कृषि वैज्ञानिक भी कार्यशाला में मौजूद रहकर किसानों को नवीन तकनीकों की जानकारी उपलब्ध करवा रहे हैं।

चयनित उम्मीदवारों को 30 अप्रैल तक आवंटित इकाई में उपस्थित होना अनिवार्य

चयनित उम्मीदवारों को 30 अप्रैल तक आवंटित इकाई में उपस्थित होना अनिवार्य 
 
अनुपपुर | 28-अप्रैल-2018
 
   मध्यप्रदेश पुलिस में सहायक उप निरीक्षक (कम्प्यूटर) प्रधान आरक्षक संवर्ग भर्ती वर्ष 2017 के कुल 14088 रिक्त पदों पर भर्ती हेतु प्रोफेशनल एग्जामिनेशन बोर्ड) द्वारा लिखित परीक्षा का आयोजन कराया गया था। चयनित उम्मीदवारों को 30 अप्रैल के मध्य आवंटित इकाई में उपस्थित होना अनिवार्य है। इस समयावधि मे उपस्थित नहीं होने वाले उम्मीदवारों के संबंध में यह माना जाएगा, कि वे चयनित पद पर ज्वाईन करने का इच्छुक नहीं है  एवं उनकी चयन निरस्तगी की कार्यवाही की जावेगी।

प्रधानमंत्री आवास योजना के अन्तर्गत सरकार दिलवाती है कुल 2.5 लाख रूपये तक की राशि

प्रधानमंत्री आवास योजना के अन्तर्गत सरकार दिलवाती है कुल 2.5 लाख रूपये तक की राशि 
ऊर्जा मंत्री श्री पारस जैन ने बिचौलियों से सावधान रहने की सलाह दी, कोई पैसे मांगे तो सीधे मंत्रीजी को शिकायत करें 
अनुपपुर | 28-अप्रैल-2018
 
 
   शासन द्वारा गरीब वर्ग के व्यक्तियों को प्रधानमंत्री आवास योजना के अन्तर्गत पक्का घर निर्माण के लिये सरकार कुल ढाई लाख रूपये तक की राशि दिलवाती है। गरीब वर्ग के व्यक्ति जिनके कच्चे या चद्दर वाले मकान हैं तथा जिनके पास जमीन की रजिस्ट्री, पट्टा, नोटरी आदि हैं, उन्हें सरकार योजना अन्तर्गत सहायता उपलब्ध कराती है।
   ऊर्जा मंत्री श्री पारस जैन ने उक्त जानकारी देते हुए जिले की जनता से कहा है कि पात्र हितग्राही इस योजना का पूरा-पूरा लाभ लें। मंत्री श्री जैन ने कहा है कि कई बिचौलिये जनता को गुमराह कर रहे हैं तथा योजना का लाभ दिलाने के लिये राशि की मांग कर रहे हैं, ऐसी भी शिकायतें उनके समक्ष आईं हैं। उन्होंने सलाह दी है कि किसी भी ऐसे व्यक्ति की बातों में न आएं तथा किसी भी व्यक्ति को राशि न दें। मंत्री श्री जैन ने कहा है कि यदि कोई व्यक्ति योजना का लाभ दिलाने के लिए उनसे राशि की मांग करता है तो वे सीधे उनसे (मंत्रीजी से) उनके मोबाइल नम्बर 9131685211 पर शिकायत कर सकते हैं।

एन्टीजन आधारित आर.डी. किट पर कोई प्रतिबंध नही

एन्टीजन आधारित आर.डी. किट पर कोई प्रतिबंध नही 
 
अनुपपुर | 28-अप्रैल-2018
 
   भारत सरकार के 23 मार्च 2018 के राजपत्र द्वारा एन्टीबॉडी आधारित आर.डी. किट (रेपिड डायग्नोस्टिक किट) को प्रतिबंधित किया गया है, जबकि एन्टीजन आधारित आर.डी. किट पर कोई प्रतिबंध नहीं लगाया गया है। स्वास्थ्य विभाग द्वारा पूर्व से ही एन्टीजन आधारित आर.डी. किट उपयोग की जा रही है जो कि शासन द्वारा मान्य है।

बच्चों का भविष्य सुधारने के लिए एकजुट होकर कार्य करें- राज्यपाल

बच्चों का भविष्य सुधारने के लिए एकजुट होकर कार्य करें- राज्यपाल 
राजभवन में समर साइंस महोत्सव का समापन 
अनुपपुर | 28-अप्रैल-2018
 
 
   राज्यपाल श्रीमती आनंदीबेन पटेल ने राजभवन कर्मचारियों के बच्चों के पाँच दिवसीय समर साइंस महोत्सव के समापन पर कहा कि इस प्रकार की प्रतियोगिताओं और महोत्सव के आयोजन से बच्चों की प्रतिभा को उभारने और देश की रक्षा तथा राष्ट्र-भावना को विकसित करने का अवसर प्राप्त होता है। उन्होंने मध्यप्रदेश को देश का सबसे पहला टीबी मुक्त प्रदेश बनाने में सहयोग का आव्हान करते हुए सभी नागरिकों से अपनी इच्छा से टीबी से ग्रस्त एक बच्चे को गोद लेने की बात कही। उन्होंने कहा कि हमारे देश और प्रदेश के बच्चों का भविष्य सुधारने के लिए सबको एकजुट होकर कार्य करना होगा।
   राज्यपाल ने प्रतियोगिता में विजेता बालक-बालिकाओं को पुरस्कार वितरित किये। महोत्सव मध्यप्रदेश विज्ञान एवं प्रौद्योगिकी परिषद एवं जवाहर बाल भवन के सहयोग से 23 से 27 अप्रैल तक किया गया। परिषद की ओर से सभी बच्चों को टेलीस्कोप भेंट किये गये।
   राज्यपाल ने कहा कि विश्व के चीन,जापान जैसे विकासित देश के नागरिकों की तरह हमें अपने देश को स्वस्थ बनाने के लिए जागरूकता अभियान चलाने की जरूरत है। उन्होंने कहा कि राजभवन के कर्मचारियों के बच्चों को जेल का निरीक्षण कराया जायेगा, जिससे बच्चे अपराधियों को मिलने वाली सजा तथा कैदियों के रहन-सहन, खान-पान को देखकर स्वयं गलत काम करने से बच सकें।
   परिषद के महानिदेशक श्री नवीन चंद्रा ने कहा कि आगे से इस प्रकार के कार्यक्रम में गणित विषय को भी शामिल किया जायेगा। जवाहर बाल भवन के संचालक श्री आर.के. आर्य ने कहा कि सोशल मीडिया के इस युग में बच्चों को परिवार वालों से जोड़ने और उनमें अकेलेपन की भावना को दूर करने के लिये इस प्रकार के महोत्सव जरूरी है। ऐसे आयोजन से बच्चों की रचनात्मक और साहित्यिक प्रतिभा को प्रोत्साहन मिलता है।
   इस अवसर पर राज्यपाल के प्रमुख सचिव डॉ. एम. मोहनराव, परिषद के डॉ.आर.के.गर्ग तथा अन्य पदाधिकारी उपस्थित थे।

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